Search Results for : उमेश वर्मा

तन्हाई के समंदर

सुकून अपने दिल का मैंने खो दिया,
खुद को तन्हाई के समंदर मे डुबो दिया,
जो थी मेरे कभी मुस्कराने की वजह,
उसकी कमी ने मेरी पलकों को भिगो दिया।

तन्हाई के समंदर शायरी