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झूठ बोलने का हुनर
सीख रहा हूँ मै भी अब मीठा झूठ बोलने का हुनर,
कड़वे सच ने हमसे, ना जाने, कितने अज़ीज़ छीन लिए।
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सीख रहा हूँ मै भी अब मीठा झूठ बोलने का हुनर,
कड़वे सच ने हमसे, ना जाने, कितने अज़ीज़ छीन लिए।